रांची। झारखंड के साहेबगंज एसपी नौशाद आलम को ईडी के द्वारा पूछताछ के लिए समन जारी किया गया है। विजय हांसदा मामले में साहेबगंज एसपी की भूमिका संदिग्ध पाई गई है। ईडी ने समन जारी कर नौशाद आलम को 22 नवंबर को ईडी के जोनल कार्यालय बुलाया है। ईडी के गवाहों को धमकाने के मामले में नौशाद अलाम से पूछताछ की जाएगी। बता दें कि नौशाद आलम पहले झारखंड के आईपीएस होंगे, जिन्हें ईडी का बुलावा आया है। इससे पहले झारखंड के 2 आईएएस अधिकारी पूजा सिंघल और छवि रंजन को ईडी जेल भेज चुकी हैं। खनन घोटाला केस में साहेबगंज के डीसी रामनिवास यादव से पूछताछ हो चुकी है। बता दें कि नौशाद आलम को अभी कुछ महीने पहले ही साहे्बगंज का एसपी बनाया गया है। इससे पहले वह, रांची के ग्रामीण एसपी के रूप में कार्यरत थे।
बाबूलाल मरांडी ने किया ट्वीट
मैंने पहले भी कई बार अनुरोध किया है कि झारखंड के कुछ महाभ्रष्ट अधिकारी इस लुटेरे हेमंत सोरेन सरकार के लिये ग़लत काम करने का टुल किट नहीं बनें। वरना करनी का फल आपको भी भुगतना होगा। अखबारों में नित नये खबरों में देख रहा हूँ कि जेल से लेकर पुलिस और प्रशासन के कुछ लोग सुधरने का नाम नहीं ले रहे और लोभ-लाालचवश बारी-बारी से ग़लत काम कर फँसते जा रहे हैं। जेल सेवा के हामिद, नसीम, दानिश के बाद अब एसपी नौशाद? ये सब हो क्या रहा है हेमंत जी? सुना है कि साहिबगंज के एसपी नौशाद आलम को ईडी ने विजय हाँसदा को होस्टाईल करा गवाही से मुकरवाने में सक्रिय भूमिका निभाने के आरोप में तलब किया है। आरोप तो यहॉं तक है कि विजय हॉंसदा को हाईकोर्ट से केश विदड्रा कराने के लिये वहाँ के डीसी और एसपी साहिबगंज से खुद लेकर रॉंची आये थे और कई “महानुभावों” से मिलवाया था। परदे के पीछे छिप कर शतरंजी चाल चलने वाले ऐसे सारे चेहरों के नाम सामने आना ज़रूरी है। लगता है झारखंड के कुछ अधिकारियों ने न सुधरने की क़सम खा रखी है। मैं @dir_ed से आग्रह करता हूँ कि ऐसे लोगों से कराई से पेश आकर पूरे गिरोह एवं उनके कारनामे का पर्दाफ़ाश करें। ताकि दूसरे लोग सबक़ लें और क़ानून से हटकर काम करने से पहले ऐसे शातिर लोग सौ बार सोचें।